Ko Birahini Ko Dukh Jane Ho

ॐ गणानां त्वा गणपति हवामहे
प्रियणां त्वा प्रियपति हवामहे( आ आ आ)

आ आ आ आ आ आ
आ आ आ आ आ आ
आ आ, आ आ, आ आ

आ आ आ आ आ आ (आ आ आ आ आ आ)

को बिरहिनी को दुख जाणे हो
को बिरहिनी को दुख जाणे हो
मीरा के पति आप रमईया
दूजो नही कोई छाणे हो
को बिरहिनी को दुख जाणे हो

हम्म हम्म हम्म हम्म हम्म हम्म
हम्म हम्म हम्म हम्म

रोगी अंतर बैध बसत हैं
रोगी अंतर बैध बसत हैं
बैध ही औखध जाने हो
सब जग कूड़ों कंटक दुनिया
दर्द ना कोई पिछाणे हो
को बिरहिनी को दुख जाणे हो
को बिरहिनी को दुख जाणे हो

हम्म हम्म हम्म हम्म हम्म हम्म
हम्म हम्म हम्म हम्म

जा घट बिरहा सोई ना की हैं
जा घट बिरहा सोई ना की हैं
कई कोई हरी जन्मा नई हो
बिरह दर्द उरी अंतरीमाही
हरी बिन सब सुख का नई हो
को बिरहिनी को दुख जाणे हो
मीरा के पति आप रमईया
दूजो नही कोई छाणे हो
को बिरहिनी को दुख जाणे हो
को बिरहिनी को दुख जाणे हो
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